
भारतीय नौसेना की ताकत में जल्द ही एक और नया और आधुनिक युद्धपोत जुड़ने जा रहा है। इस जहाज़ का नाम INS तमाल है। यह रूस में तैयार हुआ है और अब इसे जून के अंत तक भारतीय नौसेना में शामिल किया जाएगा। इसे रूस के कलिनिनग्राद शहर के यान्तर शिपयार्ड में बनाया गया है। INS तमाल एक स्टील्थ फ्रिगेट है। इसका मतलब है कि यह दुश्मन के रडार पर आसानी से नहीं आता, यानी इसे पकड़ पाना मुश्किल होता है। यह आधुनिक तकनीकों से लैस है और हवा, पानी और जमीन से आने वाले हर खतरे से निपटने में सक्षम है।
इस जहाज़ में भारत और रूस की साझा तकनीक का इस्तेमाल हुआ है। इसमें भारत की बनी ब्रह्मोस मिसाइल, रूसी मिसाइल सिस्टम, पनडुब्बी रोधी हथियार, तोप और कई अन्य उन्नत उपकरण लगे हैं। इसके अलावा इस पर एक हेलिकॉप्टर भी तैनात किया जा सकता है, जो निगरानी और सुरक्षा में मदद करेगा।
INS तमाल भारत-रूस के बीच 2016 में हुई एक डील का हिस्सा है। इस डील के तहत चार युद्धपोत बनने थे — दो रूस में और दो भारत में। INS तमाल रूस में बना दूसरा और आखिरी जहाज़ है। अब बाकी दो जहाज़ भारत के गोवा शिपयार्ड में बनाए जा रहे हैं। इस युद्धपोत की रफ्तार भी काफी अच्छी है। यह करीब 55 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चल सकता है और लंबे समय तक समुद्र में गश्त कर सकता है। इसे चलाने के लिए भारतीय नौसेना के लगभग 200 सैनिक रूस में ट्रेनिंग ले रहे हैं।
INS तमाल के भारत आने के बाद इसे पश्चिमी नौसेना कमान में शामिल किया जाएगा, जो मुंबई में स्थित है। इसके आने से भारत की समुद्री सुरक्षा और निगरानी व्यवस्था और मजबूत होगी। यह जहाज़ खासतौर पर हिंद महासागर क्षेत्र में भारत की मौजूदगी को और मजबूत करेगा।