व्यक्ति विशेष

बिहार की लोक गायिका शारदा सिन्हा का निधन, छठ गीतों से थी प्रसिद्ध

बिहार की प्रसिद्ध लोक गायिका और छठ गीतों की आइकन शारदा सिन्हा का 5 नवंबर को निधन हो गया। उनके निधन से बिहार और भारतीय संगीत जगत में शोक की लहर दौड़ गई है। पद्मभूषण पुरस्कार से सम्मानित शारदा सिन्हा को 27 अक्टूबर को नई दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) में भर्ती किया गया था, जहां उनका इलाज चल रहा था। उनके बेटे अंशुमान सिन्हा ने इंस्टाग्राम पर इस दुखद खबर की पुष्टि करते हुए लिखा कि उनकी मां अब इस दुनिया में नहीं रहीं।

शारदा सिन्हा ने अपनी आवाज से न केवल बिहार बल्कि पूरे भारत में छठ पूजा और लोक संगीत की एक अलग पहचान बनाई थी। उनका योगदान खासकर छठ गीतों में बहुत बड़ा था, और उनकी गायकी ने इस पर्व को एक नए आयाम तक पहुंचाया। उनकी आवाज में वह खनक और मिठास थी, जो सीधे लोगों के दिलों में पहुंचती थी।

बिहार के गांवों से लेकर शहरों तक, शारदा सिन्हा के छठ गीतों को हर साल श्रद्धा और भक्ति के साथ सुना जाता था। उनका प्रसिद्ध गीत “उगी है सूरज देव” छठ पूजा का अभिन्न हिस्सा बन चुका है। शारदा सिन्हा के गायन ने न केवल छठ पूजा के गीतों को लोक संगीत में स्थापित किया, बल्कि उन्होंने अपनी आवाज से भारतीय संगीत जगत में भी अपना अहम स्थान बनाया।

शारदा सिन्हा की तबियत अचानक बिगड़ी थी और उन्हें 27 अक्टूबर को दिल्ली के AIIMS अस्पताल में भर्ती कराया गया था। उनके बेटे अंशुमान सिन्हा ने सोशल मीडिया पर उनके स्वास्थ्य के बारे में जानकारी दी थी और सभी से उनके शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करने की अपील की थी। हालांकि, लंबे इलाज के बाद भी वह पूरी तरह से ठीक नहीं हो पाईं और 5 नवंबर को उनका निधन हो गया।

शारदा सिन्हा का जन्म बिहार के सीवान जिले में हुआ था। उनके संगीत के प्रति लगाव बचपन से ही था और उन्होंने अपनी गायकी की शुरुआत रेडियो से की थी। वह भारतीय संगीत की विविध शैलियों से प्रभावित रही थीं, लेकिन छठ गीतों में उनकी विशेष पहचान बनी। शारदा सिन्हा का जीवन एक प्रेरणा था और उन्होंने हमेशा अपनी गायकी के जरिए समाज में सकारात्मक बदलाव लाने की कोशिश की।शारदा सिन्हा के निधन पर कई प्रमुख नेताओं, कलाकारों और प्रशंसकों ने शोक व्यक्त किया है। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद ने भी शारदा सिन्हा को श्रद्धांजलि दी और उनके योगदान को याद किया। साथ ही, शारदा सिन्हा की गायकी हमेशा उनके फैंस के दिलों में जीवित रहेगी।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button